विश्व होम्योपैथी-डे पर उपराष्ट्रपति श्री एम.वेंकैया नायडू ने विज्ञान सम्मेलन का शुभारंभ किया
नवनीत कुमार गुप्ता
न्यूजवेव @ नईदिल्ली
उपराष्ट्रपति श्री एम.वेंकैया नायडू ने विश्व होम्योपैथी डे पर आयुष मंत्रालय द्वारा विज्ञान भवन, नईदिल्ली में विज्ञान सम्मेलन का शुभारंभ किया। उन्होंने होम्योपैथी के क्षेत्र में लाइफ टाइम अचीवमेंट अवार्ड दिए।
होम्योपैथी अनुसंधान परिषद ने होम्योपैथी में शाॅर्ट टर्म कोर्सेस भी शुरू किए हैं ताकि अंडर ग्रेजुएट स्टूडेंट्स भी रिसर्च में आगे आ सकें। इन कोर्सेेस में स्काॅलरशिप दी जाती है। परिषद होम्योपैथी में पोस्ट ग्रेजुएशन कोर्स उपलब्ध कराने वाले कॉलेजों के साथ विश्व होम्योपैथी डे पर एमओयू कर रही है। इसका मकसद होम्योपैथी के क्षेत्र में रिसर्च को बढावा देना है।
आयुष मंत्री श्रीपद येसो नाइक ने समारोह की अध्यक्षता की। इस मौके पर सांसद डॉ. मनोज राजोरिया एवं आयुष मंत्रालय में सचिव वैद्य राजेश कोटेचा मौजूद रहे। सम्मेलन को देश के होम्योपैथी विशेषज्ञ और वैज्ञानिक संबोधित करेंगे। अन्य वैज्ञानिक होम्योपैथी से जुड़ी स्टडी व खोज को प्रस्तुत करेंगे।
होम्यो्पैथी के जनक डाॅ. क्रिश्चियन फ्रेडरिक सैमुअल हैनीमेन की स्मृति में प्रतिवर्ष 10 अप्रैल को विश्व होम्योपैथी डे मनाते हैं। केन्द्रीय होम्यो्पैथी अनुसंधान परिषद् द्वारा डाॅ. हैनीमेन की 263वीं जयंती पर विज्ञान सम्मेलन आयोजित किया जा रहा है। इसमें नवाचार, विकास एवं 40 वर्षों से साइंटिफिक खोज को दर्शाया गया।
वैज्ञानिकों के लिए रोडमेप तैयार
केन्द्रीय होम्योपैथी अनुसंधान परिषद् में 40 वर्षों से हो रहे अनुसंधान कार्यों ने होम्योपैथी क्षेत्र में काम कर रहे वैज्ञानिकों के लिए रोडमेप तैयार किया है। इस दौरान 168 नैदानिक रिसर्च, 40 मूल रिसर्च, 348 दवाओं की मानक स्टडी, 112 मेडिसिन की जांच एवं 106 दवाओं का सत्यापन किया जा चुका है।
डेंगू, मलेरिया, चिकनगुनिया तथा इफ्लुएंजा जैसी बिमारियों तथा इंसेफ्लाइटिस सिंड्रोम पर होम्योपैथी में व्यापक अध्ययन शुरू किये गए हैं।