Wednesday, 6 November, 2024

जेके लोन अस्पताल में 9 मासूमों की मौत से खामियां फिर उजागर

न्यूजवेव @ जयपुर/कोटा
चिकित्सा एवं स्वास्थ्य मंत्री डॉ. रघु शर्मा ने राजस्थान के सभी मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य को निर्देश दिये कि वे नवजात शिशुओं के उपचार में विशेष सावधानी एवं गंभीरता बरतें। जेके लॉन हॉस्पिटल, कोटा में 9 शिशुओं की आकस्मिक मौत हो जाने पर डॉ. शर्मा ने स्थानीय प्राचार्य एवं प्रशासनिक अधिकारियों को घटना की प्रारम्भिक जॉंच करके तत्काल रिपोर्ट देने के निर्देश दिए। उन्होंने कोटा मेडिकल कॉलेज प्राचार्य डॉ.विजय सरदाना से जे.के.लोन अस्पताल में 9 शिशुओं की मौत की जानकारी ली। इस रिपोर्ट के अनुसार 9 शिशुओं में से 3 नवजात शिशु मृत अवस्था में लाये गये तथा 3 नवजात की मृत्यु जन्मजात बीमारी से हुई है, शेष 3 शिशुओं की मृत्यु चिकित्सकों के अनुसार सीओटी के कारण हुई है।

जे.के.लोन मातृ एवं शिशु चिकित्सालय कोटा के अधीक्षक डॉ.सुरेशचन्द दुलारा ने बताया कि चिकित्सालय में उपचार के लिए आये 9 बच्चों की 10 अक्टूबर को मौत हो गई। इनमें से 3 बच्चे अस्पताल में पोस्टनेटल में मृत्यु के बाद लाये गये थे और उनके परिजनों को तत्काल ही सूचित कर दिया गया था। 3 बच्चे जन्मजात विकृतियों से ग्रस्त थे। शेष 3 बच्चों की सीओटी के कारण मृत्यु हुई है। शिशु रोग विशेषज्ञों के अनुसार बच्चे को घुटन की स्थिति में, दुध पिलाते समय हुई गलती जैसे अन्य कारण सीओटी के कारण मृत्यु की श्रेणी में माना जाता है।
चिकित्सा मंत्री डॉ. शर्मा ने सख्त हिदायत दी कि अस्पताल प्रशासन नवजात शिशुओं की देखभाल में कोई लापरवाही न करे अन्यथा उनके खिलाफ कड़ी कार्यवाही की जायेगी।

सरकार चिकित्सा में अति संवेदनशील- धारीवाल


जेके लोन अस्पताल में 24 घंटे में 9 नवजात शिशुओं की मौत के मामले में स्वायत्त शासन मंत्री शांति धारीवाल ने अधिकारियों से जानकारी लेकर विशेष एहतियात बरतने के निर्देश दिए हैं। उन्होने संभागीय आयुक्त और जिला कलक्टर को अस्पताल का निरीक्षण कर शिशुरोग विभाग की व्यवस्थाओं को दुरूस्त करने के निर्देश दिए। संभागीय आयुक्त कैलाशचंद मीणा व कलक्टर उज्जवल राठौड़ ने अस्पताल पहुंचे और अस्पताल प्रशासन और शिशु रोग विभाग के विभागाध्यक्ष से सारी जानकारी ली।
स्वायत्त शासन मंत्री ने कहा कि सरकार चिकित्सा व्यवस्थाओं को लेकर अति संवेदनशील है। जेके लोन अस्पताल सहित सभी अस्पतालों की चिकित्सीय सुविधाओं में लगातार बढोतरी की जा रही है। उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा है कि इलाज को लेकर लापरवाही की शिकायत मिलने पर कड़ी कार्यवाही की जाएगी।

नीकू वार्ड में 6 डॉक्टर्स व 10 नर्सिंग स्टाफ लगाये
सर्दी के मौसम को देखते हुए प्रसुताओं एवं नवजात शिशुओं की देखभाल के लिए जेके लोन अस्पताल में 12 बैड का नीकू वार्ड शुरू कर 6 डॉक्टर्स व 10 नर्सिग कर्मियों की अतिरिक्त नियुक्ति की गई। इस दौरान मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ. विजय सरदाना, अधीक्षक डॉ. सुरेशचन्द दुलारा, शिशुरोग विभागाध्यक्ष डॉ.बत्तीलाल बैरवा सहित डॉक्टर्स मौजूद रहे। संभागीय आयुक्त ने आईसीयू, पीकू-नीकू वार्ड का निरीक्षण किया। उन्होंने सर्दी को देखते हुए वार्मर एवं आवश्यक उपकरण पर्याप्त मात्रा में रखने एवं वार्ड में नर्सिंग स्टाफ व चिकित्सकों को वार्ड की मॉनिटरिंग करने के निर्देश दिए। अस्पताल के सभी वार्डो में साफ-सफाई की निरंतर मॉनिटरिंग करे। कम्बल, बैड शीट, चद्दरें समय-समय पर बदली जाकर अस्पताल में अनावश्यक भीड़ नहीं होने दे।

उन्होंने चिकित्सा अधिकारियों की बैठक मौसम में बदलाव के कारण नवजात शिशुओं के संभागभर से अस्पताल में रैफर होने के कारण दबाव को देखते हुए जीर्णोद्धार के बाद तैयार नवीन वार्ड को शीघ्र शुरू करने के निर्देश दिए। उन्होंने पोस्टनेटल वार्ड में प्रसुताओं को जागरूक करने के लिए आईईसी सामग्री लगाकर नवजात को दुग्धपान व देखरेख के बारे में समय-समय पर प्रशिक्षित करने क निर्देश दिए। चिकित्सकों एवं नर्सिंग स्टाफ रोजाना शाम को भी चैकअप राउंड करेंगे। मेडिकल रिलिफ सोसायटी द्वारा आवश्यक उपकरण मुहैया कराये जायेंगे।

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