सीए वर्कशॉप : इंसॉल्वेंसी कानून का दायरा बढ़ा
न्यूजवेव @ कोटा
कोटा सीए ब्रांच द्वारा ‘इनसॉल्वेंसी एंड बैंकरप्सी कानून’ पर दो दिवसीय वर्कशॉप में दूसरे दिन दिल्ली के एडवोकेट मधुसूदन शर्मा ने कहा कि इंसॉल्वेंसी कानून से लाभ पाने वालों में बिल्डर से फ्लैट खरीदने वाले व्यक्ति भी सम्मिलित किए गए हैं। इसमें वित्तीय लेनदार, माल और सेवाएं प्रदान करने वाले लेनदार भी शामिल हैं।
उन्होने बताया कि जेपी इंफ्राटेक कंपनी केस के बाद एनसीएलटी ने माना कि बिल्डर से फ्लैट खरीदने वाले भी इनसॉल्वेंसी एंड बैंकरप्सी कानून के तहत याचिका दायर कर सकते हैं। बिल्डर द्वारा शर्तों को पूरा न करने पर अपने पैसे का पूरा रिफन्ड ले सकते हैं। इस प्रावधान से कानून का दायरा बहुत बढ़ गया है।
व्यापार में दिवालिया होने का जिक्र करते हुए उन्होंने कहा कि कुछ व्यापारी धोखा देने की नीयत से अपने रिश्तेदारों के नाम से संपत्तियों को खरीद लेते थे या उनके नाम पर हस्तांतरित कर देते थे। अब वे भी इस कानून के अंतर्गत आंएगे।
सम्पत्तियां ऋण व उधार देने वालों को चुकाने के लिए बेची जाएंगी और लेनदारों को पैसे का भुगतान होगा। लेनदारों द्वारा अपनी राशि वसूल करने के लिए नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल को आवेदन करना होगा। ट्रिब्यूनल 14 दिनों के भीतर उस आवेदन को स्वीकृत या खारिज कर देगा। वहीं से कानूनी प्रक्रिया प्रारंभ हो जाएगी। 180 दिन में किस तरह से पैसा वसूल किया जा सकता है इसकी कार्ययोजना बना ली जाएगी ।
ब्रांच चेयरमैन सीए कुमार विकास जैन ने बताया कि दो दिवसीय वर्कशॉप में विशेषज्ञों ने इनसॉल्वेंसी एंड बैंकरप्सी कानून के बारे में नई जानकारियां दी। कोटा ब्रांच के सीपीआई चेयरमैन सीए आशीष व्यास ने बताया की इंसॉल्वेंसी प्रोफेशनल पर बड़ी जिम्मेदारी है। कानूनी प्रावधानों के अनुसार उन्हें बहुत सावधानी से कार्य करना होगा क्योंकि समय पर सारे कार्य पूरे करना है, नही करने पर पेनल्टी व अन्य कानूनी प्रावधान भी है ।
कोटा ब्रांच के कोषाध्यक्ष सीए योगेश चांडक और वाइस चेयरमैन सीए पंकज दाधीच के अनुसार, द्वितीय सत्र में मुंबई से सीए देवांग संपत ने बताया कि कंपनी और एलएलपी के अलावा व्यक्ति और पार्टनरशिप फर्म भी इस कानून में शामिल किए गए हैं। कानून में पूरे प्रावधान बना दिए गए हैं परंतु अभी उन्हें लागू नहीं किया गया है। सरकार जल्द इन्हें लागू कर सकती है। इसमें व्यक्ति और पार्टनरशिप फर्म के केस में भी लगभग वही प्रावधान है जो कंपनी के लिए हैं।
वर्कशॉप में कोटा के वरिष्ठ चार्टर्ड अकाउंटेंट सीए हरीश दयानी, सीए महेश गुप्ता, सीए ललित माहेश्वरी, पदमा शारदा सहित कई सदस्यों ने भाग लिया।