Saturday, 27 April, 2024

राजीविका समूहों से जुड़ी महिलाओं की विकास में महत्वपूर्ण भूमिका- सीएम

सखी सम्मेलनः समर्थ सखी योजना, इंदिरा रसोई योजना-ग्रामीण, एकीकृत खेती क्लस्टर कार्यक्रम और डिजिटल सखी योजना का शुभारम्भ
न्यूजवेव @ जयपुर/कोटा
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि राजीविका जैसे कार्यक्रमों से महिलाओं का सामाजिक एवं आर्थिक सशक्तिकरण हो रहा है। उन्होंने कहा कि पूर्व कार्यकाल में अजमेर जिले से स्वयं सहायता समूहों की शुरूआत की गई। आज वह प्रयास इस ऐतिहासिक कार्यक्रम में वृहत रूप में सबके सामने है। राजीविका से जुड़कर महिलाएं विभिन्न प्रकार के उद्यमों एवं नवाचारों में भाग ले रही है, जिससे उनका आत्मविश्वास बढ़ा है। उन्हें अपनी क्षमताओं एवं संविधान प्रदत्त अधिकारों की पहचान हुई है। सहकारिता की भावना से कार्य करते हुए राजीविका समूहों से जुड़ी महिलाएं आज प्रदेश के विकास में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही हैं।
गहलोत जयपुर के जेईसीसी में राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका परिषद् (राजीविका) द्वारा आयोजित ‘सखी सम्मेलन’ को सम्बोधित कर रहे थे। इस सम्मेलन में प्रदेश भर से राजीविका स्वयं सहायता समूहों से जुड़ी हजारों महिलाओं ने हिस्सा लिया। साथ ही, बड़ी संख्या में महिलाएं वीसी के माध्यम से भी कार्यक्रम से जुड़ी। मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश में राजीविका के अंतर्गत 3.60 लाख समूहों का गठन कर लगभग 43 लाख महिलाओं को इनसे जोड़ा गया है। राज्य सरकार इन समूहों को 4774 करोड़ का ऋण उपलब्ध करवा रही है। यह महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में राज्य सरकार का एक अहम प्रयास है।
स्वयं सहायता समूहों से जुड़ी महिलाओं को सौंपे चेक

मुख्यमंत्री ने बैंकों द्वारा दिये जाने वाले 381 करोड़ रुपये की ऋण राशि के चेक स्वयं सहायता समूहों की महिलाओं को सौंपे। साथ ही, राजस्थान महिला निधि से दिये जाने वाले 63 करोड़ रुपए, आजीविका संवर्द्धन सहायता द्वारा दिए जाने वाले 160 करोड़ रुपए एवं जलग्रहण विकास कर्न्वजेंस सहायता द्वारा दिए जाने वाले 98 करोड़ रुपए की राशि के चेक भी राजीविका से जुड़ी महिलाओं को प्रदान किये। इस अवसर पर श्री गहलोत ने महिलाओं को स्कूटी की चाबी सौंपी एवं सर्वश्रेष्ठ कार्य करने वाली स्वयं सहायता समूह से जुड़ी महिलाओं को सम्मानित किया।
महिलाओं को सशक्त बना रही योजनाएं


गहलोत ने कहा कि प्रदेश सरकार द्वारा राज्य में लगभग 1 करोड़ लोगों को न्यूनतम 1000 रुपये सामाजिक सुरक्षा पेंशन, निशुल्क अन्नपूर्णा फूड पैकेट, 500 रुपये में गैस सिलेण्डर जैसी योजनाओं से आमजन को राहत दी जा रही है। महिलाओं के लिए उड़ान योजना के अंतर्गत निःशुल्क सेनेटरी नैपकिन, रोड़वेज बस किराये में 50 प्रतिशत छूट, इंदिरा गांधी स्मार्टफोन योजना के अंतर्गत इंटरनेट युक्त निःशुल्क स्मार्टफोन, आरटीई के तहत 12वीं तक छात्राओं को निःशुल्क शिक्षा, नई महिला नीति लागू करने, सरकारी नौकरियों में 30 प्रतिशत आरक्षण, मकान के खरीद-बेचान में रजिस्ट्री महिला के नाम से होने पर शुल्क में छूट देने जैसे निर्णय लिए गए हैं। अनिवार्य एफआईआर की नीति से महिलाओं के विरूद्ध होने वाले अत्याचारों में कमी आई है। मुख्यमंत्री ने कहा कि वर्ष 2030 तक राजस्थान को को देश का अग्रणी राज्य बनाना हमारा ध्येय है। इसमें राजीविका से जुड़ी महिलाओं की भूमिका भी महत्वपूर्ण रहेगी।
विभिन्न योजनाओं का शुभारंभ
मुख्यमंत्री ने समर्थ सखी योजना, इंदिरा रसोई योजना (ग्रामीण), एकीकृत खेती क्लस्टर (आईएफसी) कार्यक्रम एवं डिजिटल सखी योजना का शुभारंभ किया। डिजिटल सखी योजना के तहत महिलाओं को चरणबद्ध रूप से डिजिटल प्रशिक्षण दिया जाएगा। एकीकृत खेती क्लस्टर कार्यक्रम के द्वारा महिला किसानों को आत्मनिर्भर बनाया जाएगा।
मुख्यमंत्री ने की ये घोषणाएं
– राजीविका कैडर से जुड़ी महिलाओं के मानदेय में 15 प्रतिशत बढ़ोतरी।
– राजीविका से जुड़ी महिलाओं को कृषि एवं गैर कृषि क्षेत्र में 1000 करोड़ रुपये का ब्याजमुक्त ऋण दिया जाएगा।
– राजीविका से जुड़ी महिलाएं 2.5 % की जगह शून्य प्रतिशत ब्याज दर पर स्कूटी खरीद पाएंगी।
– उड़ान योजना के अंतर्गत सेनिटरी नैपकिन की पूरी सप्लाई एवं बनाने का कार्य चरणबद्ध रूप से राजीविका को सौंपा जाएगा।
– इंदिरा रसोई योजना-ग्रामीण के अंतर्गत 1000 रसोईयों का संचालन एवं प्रबंधन राजीविका स्वयं सहायता समूहों द्वारा किया जाएगा।

ग्रामीण विकास एवं पंचायतीराज मंत्री रमेश चन्द मीणा ने कहा कि महिलाओं को समान अवसर देने और उनकी उन्नति सुनिश्चित करने की सोच के साथ मुख्यमंत्री अशोक गहलोत द्वारा वर्ष 2010 में राजीविका का शुभारम्भ हुआ था। राजीविका समूहों के माध्यम से महिलाओं के जीवन में आर्थिक समृद्धि आई है। मुख्य सचिव उषा शर्मा ने कहा कि राजीविका महिला सशक्तिकरण का एक सशक्त माध्यम बनकर उभरा है। राजीविका स्वयं सहायता समूहों के द्वारा महिलाओं की आय में बढ़ोतरी हुई है, जिससे वे अपने परिवार का बेहतर पालन-पोषण कर पा रही हैं। अतिरिक्त मुख्य सचिव ग्रामीण एवं पंचायतीराज अभय कुमार ने कहा कि राजीविका से जुड़ी महिलाएं राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के ग्राम स्वराज की परिकल्पना को साकार करने में राजीविका महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही है।
इस अवसर पर इंदिरा गांधी पंचायतीराज एवं ग्रामीण विकास संस्थान के महानिदेशक कुंजीलाल मीणा, शासन सचिव ग्रामीण विकास मंजू राजपाल, पंचायतीराज शासन सचिव एवं आयुक्त रवि जैन, ईजीएस आयुक्त शिवांगी स्वर्णकार सहित अन्य अधिकारीगण उपस्थित रहे।
कोटा में लाईव प्रसारण


राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका परिषद् (राजीविका) द्वारा आयोजित ‘सखी सम्मेलन’ का नगर विकास न्यास के ऑडिटोरियम में लाईव प्रसारण किया गया। जिसमें जिले की राजीविका की महिला स्वयं सहायता समूह की महिलाओं ने बडी संख्या में भागीदारी की। इस अवसर पर खादी बोर्ड के उपाध्यक्ष पंकज मेहता, अमित धारीवाल, शिवकांत नंदवाना, डॉ जफर मोहम्मद, अतिरिक्त कलक्टर शहर बृजमोहन बैरवा, एसीईओ जिला परिषद चन्दन दुबे, राजीविका की जिला प्रबंधक नेहा चतुर्वेदी सहित जनप्रतिनिधिगण एवं अधिकारी उपस्थित रहे।

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